कमली और सुमत्रा बाई के परिवार को भी मिला पक्का घर

 भोपाल :  

झाबुआ जिले के पेटलावद विकासखण्ड के ग्राम बैकल्दा की निवासी कमली पति थावरिया को प्रधानमंत्री आवास योजनांतर्गत वर्ष 2016-17 में पक्का आवास मिल गया है। कमली पहले एक कमरे के मिट्टी और खपरैल की छत वाले कच्चे मकान में रहती थी। मजदूरी से परिवार का भरण-पोषण करने वाली कमली के लिये खुद का पक्का मकान बनाना वास्तव में एक स्वप्न ही था। शासन से मिली सहायता राशि में कुछ राशि अपने पास से मिलाकर कमली ने अपना पक्का मकान बना लिया है। अब वह अपने परिवार के साथ सीमेंट कांक्रीट के इस पक्के मकान में रहती है। अब कमली को पहले की तरह मकान के गिरने का डर भी नहीं सताता।
    बालाघाट जिले के कटंगी विकासखंड की ग्राम पंचायत कटेरा के ग्राम बोपली की निवासी बुजुर्ग महिला सुमत्रा बाई भी आम लोगों की तरह पक्के मकान में रहने का सपना देखा करती थी। गरीबी और पूंजी के अभाव में उसका यह सपना पूरा होना संभव नहीं था। प्रधानमंत्री आवास योजना ने सुमत्रा बाई को एक पक्के मकान का मालिक बनाकर उसका यह सपना साकार कर दिया है। सुमत्रा बाई अब खुश है और सीमेंट कांक्रीट के पक्के मकान में रहने का आनंद ले रही है।
सुमत्रा बाई का परिवार मजदूरी करता है। पहले पूरा परिवार झोपड़ीनुमा मिट्टी के कच्चे मकान में रहता था। कच्चा मकान बारिश में कब गिर जायेगा, इसका डर हमेशा इन्हे सताता था। वर्षा के दिनों में तो कवेलू की टपकती छत के कारण सुमत्रा बाई के परिवार की मुसीबत और बढ़ जाती थी।
सुमत्रा बाई के परिवार की गंभीर समस्या को देखते हुए ग्राम पंचायत कटेरा द्वारा उसे वर्ष 2016-17 में प्रधानमंत्री आवास मंजूर किया गया । इस योजना से मिली एक लाख 50 हजार रुपये की राशि से सुमत्रा बाई का दो कमरे का सीमेंट-कांक्रीट की छत का पक्का मकान बनकर तैयार हो गया है जिसमें सुमत्रा बाई अपने छोटे से परिवार के साथ रहने लगी है।
   सीमेंट-कांक्रीट के पक्के मकान का मालिक बनने के साथ ही सुमत्रा बाई को घर में साफ-सफाई रखने का सलीका भी आ गया है। उसके घर में पक्का शौचालय भी बन गया है और परिवार के सदस्य उसका उपयोग भी करते है।

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